16 Passengers STUCK In A Snow Mountains, After Plane Crashed | Film Explained In Hindi\urdu
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दोस्तों आज हम जिस मूवी को एक्सप्लेन करने
वाले हैं उसका नाम है अलाइव यह एक सच्ची घटना पर बनी बहुत ही अच्छी मूवी है जो
आपके अंदर कुछ कर दिखाने का और कभी भी हार ना माने का जज्बा पैदा कर देगी कहानी की
शुरुआत में एक आदमी कुछ लोगों को अपने बीते हुए कल के बारे में बता रहा होता है
जिसका नाम कैली टोज है वह कहता है कि आज से 20 साल पहले जो मेरे साथ हुआ मैं उसे
कभी नहीं भूल पाया लोग कई बार मेरे पास आते हैं और कहते हैं कि अगर हम उस सन्नाटे
उस खामोशी में होते तो जरूर मर जाते लेकिन मैं इस बात को नहीं मानता मैं
ने उस खामोशी
उस सन्नाटे में पहली बार ईश्वर को महसूस किया उस ईश्वर को नहीं जिसके बारे में
हमें बचपन से बताया जाता है वहां पर एक अलग ईश्वर है जिसके बारे में हमें कभी
नहीं बताया जाता वह सभी धर्मों से ऊपर है वह सभी रीति रिवाजों से ऊपर है जहां ईश्वर
होते हैं वहां धर्म नहीं होता और जहां धर्म होता है वहां ईश्वर का कोई काम नहीं
होता इसके बाद कहानी चली जाती है फ्लैशबैक में यानी कि 20 साल पीछे और आज दिन है 15
अक्टूबर सन 1972 हम कुछ कॉलेज के बच्चों को देखते हैं जिनकी एक रग बीटी में वो
अपना मैच खेलने के लिए
चिली की ओर जा रहे होते हैं जिनकी फ्लाइट ऊंचे पहाड़ों के
ऊपर से होते हुए अपनी मंजिल की ओर जा रही है अभी सब कुछ ठीक चल रहा होता है लेकिन
कुछ देर बाद उनका संतुलन बिगड़ने लगता है प्लेन में कुछ तेज तेज झटकों को महसूस
किया जा सकता है और आगे बैठा पायलट सभी को बताता है कि घबराइए मत मामूली से कुछ झटके
लेकिन उन्हें पता नहीं था कि इनका प्लेन एक तूफान यानी कि बर्फीले तूफान में फंस
गया है अब यहां पर उन्हें कुछ भी हो सकता है कुछ ही देर बाद झटके तेज बढ़ना शुरू हो
जाते हैं और फिर जिस बात का डर था वही होता है प
्लेन तेजी से नीचे की ओर आने
लगता है क्योंकि इसके इंजन अब फेल हो चुके थे पायलट की आंख झपक है तभी वो प्लेन जाकर
एक ऊंचे पार से टकरा जाता है और उस प्लेन की टेल यानी का पीछे का हिस्सा उससे अलग
हो जाता है और पीछे वाले हिस्से में जितने लोग थे उनके सामान के साथ-साथ सभी लोग
नीचे गिर जाते हैं और मौके पर उनकी मौत हो जाती है लेकिन आगे वाले यात्री अभी भी
जिंदा थे पर जब प्लेन आगे जाकर एक और बार पहाड़ से टकराती है तो उन्हें चोट आती है
क्योंकि इस बार प्लेन पूरी तरह से सिमर चुका था और जितनी भी सीट और उनके समान
थे
सब कुछ आगे की तरफ आ जाते हैं और उनमें उन लोगों को का काफी ज्यादा चोट आती है कुछ
तो काफी ज्यादा घायल भी हो जाते हैं कुछ लोगों को होश आता है तो वह अपने आसपास
देखते हैं सब कुछ बर्बाद हो चुका था उनके शरीर के अंदर बहने वाला खून भी अब जम रहा
था कुछ तो ऐसे लोग थे जो ठंड के मारे ही मर जाते हैं और कुछ लोग बाहर जाते हैं तो
देखते हैं कि प्लेन के आगे वाले हिस्से में अभी भी एक पायलट होश में है और उन्हें
उनके पास फौरन जाना होगा इसलिए एंटीन और कनसा नाम के दो लड़के उनके पास जाते हैं
और तुरंत ही रेडियों को कै
से आर्न करना है उनसे पूछते हैं लेकिन इसका कोई भी फायदा
नहीं होता क्योंकि रेडियो की बैटरी अब समाप्त हो चुकी थी अब ऐसे में उन्हें किसी
रेस्क्यू प्लेन का आने का इंतजार करना होगा और कुछ ही देर बाद वह पायलट भी अपना
दम तोड़ देता है कुछ और भी यात्री मारे जाते हैं यानी अब जितने लोग बचे हुए हैं
उन्हें अब खुद का ख्याल खुद ही रखना होगा क्योंकि कुछ ही देर में अंधेरा होने वाला
है और ऐसे में ठंड बढ़ जाएगी यहां कन्शा सभी को आकर बताता है कि जितनी भी सीट बची
हुई हैं उन्हें कवर से निकाल लेना चाहिए ताकि रात में ठं
ड से बच सके लेकिन जब रात
आती है तो उन्हें पता चलता है कि उन्होंने जैसा सोचा था ठंड उससे कई गुना ज्यादा है
और उस ठंड को कुछ लोग बर्दाश्त नहीं कर पाते हैं और जो यात्री घायल थे उनका खून
तो जम जाता है और वे सभी लोग मारे जाते हैं लेकिन जितनी भी देर जैसे-तैसे करके
सभी लोग अपनी रात गुजार देते हैं और अगली सुबह कने सा एक कैप कुरू के फस जाता है
क्योंकि इकलौता वही बचा हुआ था और वह इतना डरा हुआ होता है कि वह किसी की बात ही
नहीं सुन रहा था लेकिन कने सा उसे समझाता है और फिर उससे पूछता कि क्या इस प्लेन
में कोई
फ्लेवर है ताकि उसकी मदद से हम किसी सिग्नल को भेज सकें लेकिन वोह कहता
है कि ऐसी कोई भी चीज प्लेन में मौजूद नहीं है यह सुनकर वे दोनों बहुत ही उदास
हो जाते हैं और कुछ दिन व कुछ रातें उन्हें ऐसे ही गुजारनी पड़ती है धीरे-धीरे
करके लोग क होते जा रहे थे क्योंकि हर कोई - 20 डिग्री सेल्सियस को झेल नहीं सकता तो
मारा जाता है एक दिन वो क्री मेंबर बताता है कि अगर हमें किसी को सिग्नल देना है तो
हम उस रेडियो की मदद से दे सकते हैं जो कि उसकी बैटरी प्लेन के टेल में जो कि पहले
ही टकराकर ना जाने कहां गिरा हुआ है
अगर उसे हम ढूंढने में कामयाब हो गए तो हमारा
काम बन सकता है लेकिन कनसा कहता है कि यह मुमकिन नहीं है क्योंकि हमें पता नहीं कि
वो टिल कहां पर गिरी है ऐसे में अगर हम बाहर उसे ढूंढने के लिए जाएंगे तो इस ठंड
में मारे जाएंगे अब पांच दिन गुजर जाने के बाद जितने भी मरे हुए लोगों की लाशें थी
उन्हें य स सभी बाहर लते हैं और उसे दफना देते हैं क्योंकि उनसे बदबू आना शुरू हो
गई थी लेकिन वहां पर खड़े लोगों को यह यकीन था कि इन्हें कोई ना कोई ढूंढने के
लिए जरूर आएगा तब तक इन्हें खुद को जिंदा रखना पड़ेगा इसके लिए उन
के पास जितना भी
खाना होता है उन्हें यह सभी इकट्ठा कर लेते हैं और फिर उसमें सबका हिस्सा लगाते
हैं ताकि खाना ज्यादा दिन तक चल सके उसी समय उन्हें एक हेलीकॉप्टर की आवाज सुनाई
देती है लेकिन आसमान में इतनी धूल होती है कि इन्हें बस आवाज ही सुनाई देती है वो
कहीं पर दिखाई नहीं देता लेकिन इन सभी को लगता है कि उस हेलीकॉप्टर ने ने देख लिया
है यह खुद को तसल्ली देने लग ते हैं कि ये सभी अब बच जाएंगे पर एक आदमी आकर इन्हें
बताता है कि जो सच है हमें वही अपनाना चाहिए ना कि झूठ का सहारा लेकर खुद को
जिंदा रखना चाहिए
और यही सच है कि उसने हमें नहीं देखा और सभी फिर से निराश हो
जाते हैं और जाकर वापस से सो जाते हैं कुछ इसी तरह से इनकी एक और रात मुश्किलों के
साथ में कट जाती है लेकिन यहां पर बचे जितने भी सरवाइवर लोग हैं इन्हें कोई
अंदाजा नहीं है कि इन्हें यहां पर कितने दिन रहना पड़ सकता है सभी को यही लगता है
कि कोई इन्हें बचाने के लिए जरूर आएगा चलिए अच्छा है कम से कम एक उम्मीद है जो
इन्हें जिंदा रख रही है अगले दिन कुछ लोग एक स्टील को बेंड करके एक स्लोप बनाते हैं
और फिर उस पर बर्फ रखकर उसे पिघलाने की कोशिश करते है
ं ताकि पीने का पानी मिल सके
वहीं कुछ दूरी पर कुछ लोग आराम से बैठकर स्मोक कर रहे थे क्योंकि उन्हें पूरा यकीन
था कि रेस्क्यू वाले उन्हें बचा लेंगे और इधर रेस्क्यू की टीम बार-बार उस एरिया को
सर्च कर रही थी लेकिन उन्हें ये सभी लोग कहीं भी दिखाई नहीं देते तभी प्लेन के
अंदर से नंदू नाम का एक आदमी कोमा से उड़ता है और उसे बताया जाता है कि उन
लोगों का प्लेन क्रैश हो चुका है लेकिन तुम बच गए हो वह सबसे पहले अपनी मां के
बारे में पूछता है तो लोग बताते हैं कि वह मर चुकी है अब यह सुनकर वो रोना शुरू कर
देता है
और उसे बताया जाता है कि तुम्हारी बहन संजो अभी जिंदा है लेकिन वो बहुत ही
घायल है और उसे तुम्हारी शक्त जरूरत है तो वह उसी हालत में भागते हुए उसके पास जाता
है और कहता है मेरी बहन तुम डरना मत गॉड हमारे साथ है अब तो मैं भी तुम्हारे पास आ
गया हूं हम सब बच जाएंगे दोस्तों यहां पर जितने भी लोग हैं वो बीते कई दिनों से बस
इसी उम्मीद में कि कोई उन्हें बचाने के लिए आ जाए इन्हें खुद जाकर उस टेल को
ढूंढना होगा ताकि वो फिर से किसी रेडियो से सिग्नल भेज सके सभी लोग एक दूसरे से
चिपक कर सो जाते हैं और नंदू पूरी रात
अपनी बहन की देखभाल करता है है यह सफर
उसके लिए ऐसा शापित बन जाएगा अगले दिन यह सभी लोग फिर जाकर बाहर बैठ जाते हैं
क्योंकि इन्हे इसके अलावा कोई काम ही नहीं है तभी उनके ऊपर से एक प्लेन जाते हुए
दिखाई देता है जो शायद आर्मी प्लेन होगा अब इन्हें लगता है कि उस प्लेन ने इन्हें
देख लिया है इसलिए सभी लोग बहुत ही ज्यादा खुश हो जाते हैं और उसी रात सभी लोग एक-एक
करके बचे हुए खाने को खा जाते हैं जो कि इन्होंने अपने आने वाले दिनों के लिए बचा
कर रखा था इन्हें लग रहा था कि अब ये तो बच जाएंगे तो इस खाने का क्या क
ाम होगा अब
सुबह होती है और ये सभी लोग इंतजार करने लगते हैं उस प्लेन का जो कि कल रात गुजरा
था लेकिन यहां पर इन्हें बचाने के लिए कोई भी नहीं आता है और हकीकत भी यही थी कि उस
प्लेन ने इन्हें कभी देखा ही नहीं था और जब एंटोनियो सोकर उठता है तो वह सभी को
खाना बांटने के लिए जाता है लेकिन वहां पर कुछ बचा ही नहीं था और यह देखकर वह सभी पर
बहुत ही ज्यादा चिल्लाता है क्योंकि ना जाने कब तक उन्हें यहां पर रहना पड़ सकता
है और क्या पता कभी इन्हें कोई बचाने के लिए आए ही ना लेकिन उस रात कुछ लोग डिसाइड
करते हैं कि
वे सभी लोग उस जगह पर जाएंगे जहां पर प्लेन की टेल यानी कि पीछे वाला
भाग गिरा हुआ है और उसमें से बैटरी को लेकर वापस आएंगे और इधर कुछ लोग रेडियों
को भी ठीक करने में लग जाते हैं लेकिन यह सफर इतना आसान नहीं होता था जो लोग वहां
पर जाने वाले हैं उनके लिए बहुत ही मुश्किल होने वाला है और जाते-जाते एक
आदमी तो खाई में गिरते-गिरते बचता है क्योंकि वहां की बर्फ बहुत ही ज्यादा नरम
है वो किसी भी समय टूट जाती है और ऐसे में आगे बढ़ना खतरे से खाली नहीं है इसलिए सभी
फैसला करते हैं कि ये सब वापस लौट जाएंगे और वापस आ
जाते हैं और सभी लोग बहुत ही
ज्यादा निराश थे क्योंकि इनके पास और कोई दूसरा रास्ता नहीं था उस रात नंदू की बहन
भी अपना दम तोड़ देती है तो वह सभी से कहता है कि आज की रात मैं अपनी बहन को गले
लगाकर सोना चाहता हूं एक तरफ उसने अपनी मां को खो दिया और दूसरी तरफ अपनी बहन को
वो पूरी तरह से टूट चुका था वह सभी से कहता है कि हम कल उसे दफना देंगे आज मुझे
आखिरी बार उसके साथ रहना है उसकी यह बातें सुनकर वहां पर सभी लोग बहुत ही ज्यादा
निराश और हताश हो जाते हैं क्योंकि यहां पर सभी का कोई ना कोई यहां पर मरता जा रहा
था लेकिन यह चीज इनके लिए कम थी कि तभी अगले दिन एंटोनियो आकर बताता है कि सरकार
ने हमें ढूंढना बंद कर दिया है क्योंकि उन्हें लग रहा है कि हम सभी लोग मर चुके
हैं अब यह सुनकर सभी लोग और भी ज्यादा टूट जाते हैं और उसी समय नंदू कहता है कि हमें
पता है कि यहां पर ढूंढने के लिए हमें कोई भी नहीं आएगा लेकिन तब तक हमें खाने के
लिए कुछ तो चाहिए वह कहता कि बाहर जो लाशें दफन करी हुई है हम उन्हें खा सकते
हैं कम से कम हम कुछ दिन तो जिंदा रह सकेंगे लेकिन सभी उसकी बात से इंकार करते
हैं पर नंदू को पता था कि ऐसी ठंड
में हम खुद को ज्यादा दिन बुखा रखेंगे तो एक-एक
करके हमारी जान जाती रहेगी अब चार दिन बीत जाते हैं और यह सभी लोग अभी भी भूखे थे
इसलिए अब ये भूख बर्दाश्त से बाहर हो गई थी एक लड़का जाकर उन लाशों में से एक लाश
को काटकर खाने लगता है फिर सभी लोग उसे देखकर एक-एक करके आगे जाते हैं और जिंदा
रहने के लिए उन्हें ये काम करना ही पड़ता है सभी लोग बहुत ही भूखे थे इसलिए सभी लोग
आ जाते हैं और उन्हें खाना शुरू कर देते हैं यह देखकर नंदू को बहुत बुरा लगता है
क्योंकि उन लाशों में से दो लोग उसके अपने ही थे लेकिन वह मजबू
र है वह कुछ नहीं कर
सकता अब कुछ खाने के बाद इनके अंदर थोड़ी बहुत ताकत आ जाती है और इनमें से तीन लोग
अगली सुबह एक बार फिर से निकल जाते हैं प्लेन की टेल यानी कि प्लेन का पिछला भाग
ढूंढने के लिए लेकिन वह कहां पर है इन तीनों में से किसी को भी पता नहीं है
इसलिए सभी लोग एक ही रास्ते पर चलते रहते हैं और ऐसे ही पूरा दिन निकल जाता है अगली
सुबह एक आदमी मांस के कुछ टुकड़ों को काट रहा होता है तो वह दूसरे आदमी से कहता है
कि मुझे नहीं लगता कि वे सभी लोग बच पाएंगे क्योंकि उन्होंने बहुत ही कम कपड़े
पहने हुए हैं
तभी हम उन तीनों आदमी मुख देखते हैं जो उस रात को एक पहाड़ के सहारे
बैठ गए थे ताकि वह थोड़ी देर सो सके लेकिन सुबह होते ही उनके ऊपर बर्फ की परत जम
जाती है लेकिन शुक्र के वे सभी अभी जिंदा थे फिर उठकर वे सभी लोग आगे बढ़ने की
कोशिश करते हैं और तभी उन्हें कुछ दूरी पर कुछ सामान मिलता है जो कि उस प्लेन की टेल
से टूटकर गिर गया था जिनमें कुछ लोग भी होते हैं जो कि मर चुके थे अब यहां से ये
सभी आगे नहीं जाते हैं क्योंकि आगे जाने के लिए यहां पर इन्हें एक और रात बितानी
होगी जो कि इनके लिए सही नहीं है और इसलिए
तीनों लोग डिसाइड करते हैं कि वे लोग वापस
प्लेन की ओर लौट जाएंगे और वे सभी वापस आने के बाद सभी के साथ में बैठकर एक प्लान
बनाते हैं कि कैसे इस बार वे लोग पूरे कपड़े के साथ में जाएंगे और कुछ खाने का
सामान भी अपने साथ में ले जाएंगे ऐसा करने पर वे लोग ज्यादा दिन वहां पर रुक सकेंगे
यहां हम देख पाते हैं कि सभी लोग एक साथ में सो रहे थे खुद को गर्म करने के लिए और
अपने बचे हुए सामान को वे लोग जला देते हैं और जब वो भी खत्म हो जाता है तो वे
सभी लोग खुद के पैसों को भी जलाना शुरू कर देते हैं और इसी समय इन्हें
एहसास होता है
कि इस दुनिया में अगर कोई सबसे बड़ी चीज और कीमती है तो वही खुद की जान तभी वहां
पर कलेटो ज नाम का एक आदमी कहता है कि लगता है कि हमारा साथ ईश्वर दे रहा है तभी
उसने हमें इतने दिनों तक जिंदा रखा हुआ है और सभी उसकी बात से एग्री करते हैं लेकिन
उसी रात एक तेज बर्फीला तूफान आता है एक एवलांच इनके प्लेन के ऊपर आकर गिर जाता है
जिसकी बहुत सारी बर्फ अंदर आ जाती है जिसमें सभी लोग दब जाते हैं और उन्हें
सांस लेने में काफी दिक्कत होने लगती है जिसकी वजह से कई लोग मारे जाते हैं अगले
दिन लोग बाहर निकल
ने की कोशिश करते हैं तो देख पाते हैं कि अभी भी तूफान बाहर चल रहा
है और इन्हें कुछ देर और अंदर रहना होगा अब थोड़े टाइम बाद जब लोग बाहर जाते हैं
तो उन्हें वहां पर कलेटो बैठा हुआ दिखाई देता है जो फिर से कहता है कि ईश्वर हम
साथ दे रहा है तभी देखो सूरज भी निकल गया है तो कलेटो ज वही व्यक्ति है जिसको हमने
कहानी की शुरुआत में देखा था जो कि हमें अपनी कहानी बता रहा है अब कहानी आगे बढ़ती
है और इस तूफान में और आठ लोग मारे जाते हैं ने कि ये लोग बाहर दफन कर देते हैं और
जो बचे हुए लोग हैं व डिसाइड करते हैं कि
उन्हें कैसे भी करके जहाज के टेल तक
पहुंचना होगा व वरना बहुत देरी हो जाएगी दोस्तों इन लोगों को यहां पर 50 से भी
ज्यादा दिन हो चुके हैं और ये लोग अभी भी फंसे हुए हैं और तब से ये लोग बर्फ को
पिघलाकर बस उसी का पानी पी रहे हैं और खाने में लाशों की मास को खा रहे हैं
लेकिन यहां पर इनके लिए खुशखबरी होती है कि जाड़े का मौसम अब खत्म होने वाला है
यानी कि अब दिन लंबा होने वाला है जिससे कि ये लोग अब लंबा सफर तय कर सकेंगे और
फिर से तीन लोग निकल जाते हैं उस जहाज के टेल को ढूंढने के लिए लेकिन इस बार उन्हें
कहा
जाता है कि अगर तुम्हें उस टेल का हिस्सा नहीं मिला तो तुम लोग वहां से आगे
निकल जाना लौटकर मत आना क्या पता आगे जाकर कोई मदद मिल जाए अब वे तीनों कड़ी
मुश्किलों के बाद आगे बढ़ते रहते हैं और इनकी किस्मत अच्छी होती है कि इन्हें
ढूंढते ढूंढते वह टेल मिल जाती है हालांकि ये लोग गलत दिशा में जा रहे थे लेकिन वही
इनके लिए सही दिशा थी अब ये फौरन बैटरी को बाहर निकालते हैं और ऐसे में उसे अपने साथ
में नहीं ले जा सकते थे इसलिए नंदो जाकर उस आदमी को अपने साथ लेकर आता है जो
वायर्स वगैरह ठीक कर सकता है लेकिन उससे भी
कुछ नहीं होता है और ऐसे करते करते रात
हो जाती है ये चारों लोग उस जहाज के टेल के अंदर बैठकर खुद को आसरा देते हैं यहां
पर निंदू कहता है कि हमें वापस चलना चाहिए क्योंकि तूफान आने वाला है और अगर हम आगे
गए तो मारे जाएंगे लेकिन उसके साथ वाला बंदा कहता है कि हमें वापस नहीं जाना
चाहिए पर तीन लोग नंदू की बात से समझ है इसलिए यह लोग आगे बढ़ते हैं लेकिन बीच में
इन्हें बहुत ही मुश्किलों का सामना करना पड़ता है ऊपर से इन्हें अब ठंड भी लगना
शुरू हो गई थी नंदू के ऊपर से सभी लोग बहुत ही ज्यादा चिल्लाते हैं क्यों
कि उसका
ही आईडिया था लेकिन अब ये बाहर आ गए इसलिए इन लोगों को अब आगे जाना होगा बहुत देर हो
जाने के बाद फाइनली ये लोग उस जगह पर पहुंच जाते हैं तो यहां पर सभी लोग बर्फ
से ढके हुए थे तो उन्हें फौरन गर्म किया जाता है अगली सुबह हम नंदो को देखते हैं
जो कि कुछ स्लीपपिंग बैग बना रहा था क्योंकि उसका मानना था कि अब यहां पर हाथ
पे हाथ रखे बैठकर कुछ भी नहीं होने वाला अब उन्हें 60 से भी ज्यादा दिन हो चुके
हैं अब उन्हें यहां से चलकर खुद कहीं पर जाना होगा और खुद के लिए मदद ढूंढनी होगी
कुछ समय बाद कैनसा और एंटोन
ियो नंदो के पास आते हैं और फैसला करते हैं कि ये लोग
आगे जाएंगे के लिए जब यह जाने वाले होते हैं तो इनके पास कलेटो जाता है जो उन्हें
बताता है कि मैंने कल रात एक सपना देखा था जिसमें तुम लोगों को एक हरियाली वाली जगह
मिल गई है और तुम लोग बच गए हो मुझे यकीन है कि तुम्हारा साथ ईश्वर जरूर देगा जाओ
कोशिश करने वालों की कभी हार नहीं होती और फिर ये लोग निकल जाते हैं अपने अनजान सफर
की ओर कुछ दूर चलने के बाद ये ऊंचे पहाड़ी पर पहुंचते हैं जहां पर नेदू को 50 मील
दूर कुछ दिखाई देता है वह सभी से कहता है कि मुझे ल
गता है कि वहां पर कुछ पेड़
होंगे उन पहाड़ों के बीच में लेकिन एंटोनियो वहीं पर गिर जाता है और कहता है
कि यह नाम मुमकिन है 50 मील पैदल चलने के पहले ही हम भूख और ठंड से मर जाएंगे लेकिन
नंदो कहता कि हमने 60 दिन एक प्लेन में इंसानों को खाकर गुजार दिया तो यह फिर 50
मील क्या चीज है मैं जिंदा रहने के लिए कुछ भी कर सकता हूं क्योंकि इस दुनिया में
सबसे कीमती चीज है इंसानों की जिंदगी लेकिन यहां पर एंटोनियो जाने के लिए राजी
नहीं था इसलिए सभी लोग उसे वापस भेज देते हैं और फिर दोनों अकेले उस राशन को लेकर
आगे बढ
़ना शुरू करते हैं इन्हें कुछ अंदाजा था कि आगे कुछ मिलेगा लेकिन सिर्फ
एक आग को जलाने के लिए एक छोटी सी चिंगारी काफी होती है और यहां इन्हें यही उम्मीद
आगे बढ़ाने में हिम्मत दे रही थी हौसला दे रही थी अब 12 दिनों तक बस दोनों चलते रहते
हैं इनके पास अब खाना खत्म हो गया था फिर एक रात ये अपनी उम्मीद तोड़कर वहीं पर लेट
जाते हैं लेकिन जब अगली सुबह इनकी आंख खुलती है तो इनके सामने हरियाली थी नदी थी
बहुत सारे पेड़ थे एक झरना था जो कि इन्हें रात में दिखाई नहीं दिया था और
इन्होंने वास्तव में वह कर दिखाया शायद
निंदो की जीत थी जो कि अब 16 लोगों की जान
बचा सकेगी कुछ देर बाद हम प्लेन में बचे हुए लोगों को देखते हैं जो बस एक उम्मीद
में कि काश कोई चमत्कार हो जाए वो कहते हैं ना दोस्तों ईश्वर की लाठी जब पड़ती है
तो उसमें आवाज नहीं होती तभी उन्हें आसमान में दो हेलीकॉप्टर की आवाज सुनाई देती है
जब बाहर निकलते हैं तो उसमें नंदो बैठा हुआ था उसने वो कर दिखाया जो किसी ने सोचा
नहीं होगा सभी उसे देखकर बहुत खुश थे और एक खुशी शब्दों में बयान नहीं की जा सकती
वो एक दूसरे को गले लगाना शुरू कर देते हैं और बस भगवान का शुक्रि
या अदा करते हैं
कि हम बचे निकले अंत में हम कलेटो को देखते हैं जो कि इस कहानी को सुना रहा है
वह बताता है कि जाने से पहले हम लोग उन मरे हुए लोगों को एक पहाड़ के नीचे दफना
दिया और उनके ऊपर उनकी याद में एक क्रॉस बना दी अंत में हमें बताया जाता है कि इस
हादसे में 29 लोगों ने अपनी जान गवा दी थी और 16 लोग बच गए थे तो दोस्तों इसी के साथ
ही यह मूवी समाप्त हो जाती है वेल दोस्तों मान लो अगर आप इन लोगों की जगह पर होते तो
क्या करते अपनी राय को कमेंट बॉक्स में जरूर बताना और हां दोस्तों अगर अभी तक
आपने हमारा चै
नल को सब्सक्राइब नहीं किया है तो आप सभी से रिक्वेस्ट है कि हमारे
चैनल को सब्सक्राइब जरूर कर लेना क्योंकि दोस्तों मैं इसी तरह की बेहतरीन फिल्मों
का एक्सप्लेनेशन लेकर आता रहता हूं तो चलिए दोस्तों आप सभी से मिलते हैं एक और
नए वीडियो के साथ तब तक के लिए आप सभी लोग अपना ख्याल रखिए बाय बाय टेक यर एंड थैंक
यू
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