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The Importance Of Plato's Education System: A Critique,#plato ,#platoon ,#plato education,

Plato education system is important idea of his philosophy. Plato was born in the era of Socrates, he witnessed two wars in his prime age, the war between Athens and Sparta, Plato blamed the defeat of Athens this king , therefore he invented the theory of education, it is wonderful that his 4 books of REPUBLIC are related to EDUCATION. There was deep impact of education system of Athens and Sparta also Plato emphasized on both DEVELOPMENT , THE DEVOLOPEMENT OF BODY AND DEVELOPMENT OF INNER SOUL. Plato curriculum started at the age of 6 and 50. it was quite long, he focused the education of ethics ,music and basic edu MAIN FEATURES OF PLATO EDUCATION SYSTEM 1 IT WAS COMPLETED IN CONTROL OF STATE 2 THERE WERE 3 PARTS OF EDUCATION SYSTEM[ A ]PRIMARY EDUCATION , HERE CHILDREN WILL BE GIVEN THE EDUCATION OF THOSE SUBJECT ,WHAT MAKE THEM A NOBLE SOUL,EDUCATION OF ETHICS ,POEM MUSIC, GOOD BOOKS ETC. 3 AT THE AGE OF 18 TO 20 THERE WAS COMPULSORY EDUCATION [SAINIK TRAINING] IT WAS COMPULSORY FOR MALE AND FEMALE BOTH 4 AT THIS STAGE THERE WILL BE A EXAM ,PERSON WHO WILL PASS IT WILL GO FOR HIGHER EDUCATION .THIS EDUCATION WILL BE FOR ONLY KING[ THE RULER ] HERE PLATO EMPHASIZED ON THE EDUCATION SCIENCE MATHEMATICS ,ALL SUBJECT RELATED TO VIGYAN .FROM 30 TO 35 THERE WAS A PROVISION OF EDUCATION OF PHILOSOPHY AND DIALECTS. .5 FROM 35 TO 50 THERE WILL BE EDUCATION OF PRACTICAL KNOWLEDGE, PERSON AFTER COMPLETING THIS EDUCATION WILL BE SELECTED FOR RULER. CRITICISM 1 UNDEMOCRATIC 2 A VERY LONG CURRICULUM 3 NO EDUCATION FOR TWO SECTION OF SOCIETY ,SAINIC, UDAPADAC VARG.4 THERE WAS EDUCATION ONLY FOR RULERS 5 THERE WAS NO EDUCATION FOR THE SKILL OF PRODUCTION,MILITARY,,6 THERE CAN NOT BE ANY DEVELOPMENT OF ,LITERATURE UNDER THE CONTROL OF STATE , IT WASN'T FOR THE DEVELOPMENT OF COMPLETE, PERSONALITY IMPORTANCE OF PLATO EDUCATION 1 EVEN TODAY HIS EDUCATION SYSTEM PREVAILS 2 DEFINITELY IT WAS A EXCELLENT SYSTEM OF EDUCATION WE CAN HAVE A BIG CHANGE IN OUR PRESENT SOCIETY WITH THE PLATO CONCEPT OF EDUCATION,#plato,#plato education ,#,#socratees ,#plato philosophy,#justice of plato,#plato for upsc,#plato in hindi,#polity,#political,#plato theory of education,#republic ,#republic book four,#athens ,#plato academy,#philosopher king,#ideal state,#plato ideal state,#wisdom,#courage,#appetite [learn political science with dr vandana joshi]dr vandana joshi@gmail. com

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4 months ago

नमस्कार गुड इवनिंग आशा है और विश्वास है आप सभी बहुत अच्छे होंगे अभी हमने चर्चा की थी प्लेटो की शिक्षा प्रणाली प्लेटो ने अपने ग्रंथ रिपब्लिक में शिक्षा पर बहुत अधिक बल दिया और इसीलिए बहुत से विद्वानों ने यह कहा कि रिपब्लिक राजनीति पर लिखा हुआ ग्रंथ नहीं है अभी तो शिक्षा पर लिखा गया आज तक का सर्वश्रेष्ठ प्रलेख है अब हमय देखते हैं कि प्लेटो मानता था कि यदि श्रेष्ठ व्यक्ति का निर्माण करना है तो वह श्रेष्ठ शिक्षा प्रणाली के द्वारा ही संभव हो सकता है तो प्लेटो ने जब अपनी शिक्षा प्रणाली निर्धारित की तो
उसमें किन-किन बातों पर बहुत अधिक बल दिया गया तो सबसे पहले तो हम य देखते हैं कि पेटो प्लेटो की शिक्षा प्रणाली पर कहां की शिक्षा प्रणालियों का प्रभाव पड़ा प्लेटो के समय में दो प्रकार की शिक्षा पद्धतियां प्रचलित थी पहली थी एथेंस की और दूसरी थ स्पार्टा प्लेटो के समय में दो प्रकार के श दो प्रकार की शिक्षा प्रणालियां बहुत महत्त्वपूर्ण थी पहली एथेंस और दूसरी स्पार्टा और दोनों में बहुत ज्यादा अंतर था दोनों की अपनी अपनी विशेषताएं थी और दोनों की अपनी अपनी बहुत ज्यादा बड़ी-बड़ी कमियां भी थी एथेंस की शिक्ष
ा प्रणाली क्या थी तो एथेंस में शिक्षा व्यक्तिगत कार्य था व्यक्तिगत हाथों में शिक्षा होती थी शिक्षा देना राज्य का काम नहीं था शिक्षा देना परिवार का निजी कार्य था यह परिवार की अपनी स्वयं की जिम्मेदारी होगी कि वह अपनी संतान को किस प्रकार की शिक्षा प्रदान करवाना चाहे यह कहां था एथेंस में शिक्षा के तीन सोपान थे प्राथमिक माध्यमिक और सैनिक एथेंस के बालक को 6 से 14 वर्ष की उम्र तक प्राथमिक शिक्षा मिलती थी एथेंस में जब बच्चे छ से 14 साल की आयु में होते थे तो उनको प्राथमिक शिक्षा दी जाती थी इसमें साहित्य
की शिक्षा वम की शिक्षा संगीत की शिक्षा यह सारी शिक्षाए उस समय उसको दी जाती थी साहित्य शिक्षा के अंतर्गत बालक को नैतिक और धार्मिक शिक्षा का समावेश भी हो जाता था नैतिक और धार्मिक शिक्षा 14 से 18 वर्ष तक बच्चे को माध्यमिक शिक्षा मिलती थी यह हम कहां की शिक्षा की बात कर रहे हैं एथेंस माध्यमिक शिक्षा का उद्देश्य व्यक्ति को राजनीतिक जीवन का प्रशिक्षण देना होता था 18 वर्ष की आयु में एथेंस में माना जाता था कि बच्चे को अब राजनीतिक जीवन का प्रशिक्षण भी प्रदान किया जाए शिक्षा के अंतिम सोपान सर्वोच्च सोपान म
ें 18 से 20 वर्ष की आयु तक सैनिक शिक्षा का उपबंध था यह प्रत्येक नवयुवक के लिए आवश्यक थी तो प्लेटो कहते हैं कि एथेंस की व्यक्तिगत शिक्षा प्रणाली में बहुत दोष थे क्योंकि यह एक परिवार के द्वारा दिया जाने वाला कार्य था इसमें राज्य का योगदान नहीं था अतः परिवार के लिए तो हो सकता है कि वह शिक्षा प्रणाली अच्छी हो लेकिन राज्य के लिए व शिक्षा प्रणाली इतनी हितकर नहीं हो सकती तो प्लेटो के मन में यह विचार बहुत दृढ़ था कि एथेंस के राजनीतिज्ञों के अज्ञानी होने से प्लेटो के मन में इस शिक्षा पद्धति के विरुद्ध अस
ंतोष और प्रतिक्रिया उत्पन्न हुई एथेंस ने जो युद्ध में पराजय देखी विनाश देखा तो प्लेट का असंतोष वहां की शिक्षा प्रणाली से था तो उसने अपनी शिक्षा प्रणाली में कुछ बातें जो एथेंस की शिक्षा प्रणाली में थी उनको बिल्कुल दूर रखा जैसे कि प्लेटो कहता है कि शिक्षा राज्य के द्वारा दी जानी चाहिए शिक्षा का उद्देश्य उत्तम नागरिक बनाना होना चाहिए एथेंस में परिवार के द्वारा शिक्षा देने का जो कार्य था उसका उन्मूलन होना चाहिए शिक्षा के द्वारा योग्य ज्ञानी दार्शनिक राजा तैयार किए जाने चाहिए जो एक आदर्श राज्य का निर
्माण कर सके दूसरी तरफ हम देखते हैं स्पार्टा की शिक्षा प्रणाली यूनान में दूसरी पद्धति थी स्पार्टा की शिक्षा प्रणाली यहां शिक्षा में परिवार का कोई स्थान नहीं था सात वर्ष की आयु में ही बालक को राज्य के एक अधिकारी को सौंप दिया जाता था और शिक्षा का मुख्य उद्देश्य था युवकों को कठोर सैनिक प्रशिक्षण देना जिससे कि वह वीर योधा क्षत्रिय बन सके और स्पार्टा की रक्षा कर सके स्पार्टा में स्त्रियों के लिए भी सैनिक शिक्षा अनिवार्य थी यह कहा जाता है कि स्पार्टा की शिक्षा प्रणाली उस समय इतनी ज्यादा प्रभावी मानी जा
ती थी कि एथेंस के नागरिक स्पार्टा आके शिक्षा ग्रहण करते थे जब प्लेटो ने अपनी पुस्तक रिपब्लिक लिखी तो उसने अपने राजनीतिक उत्कर्ष के लिए एथेंस के राजनीतिक उत्कर्ष के लिए वह सब बातें अपनी शिक्षा प्रणाली में शामिल करना चाहिए प्लेटो कहता है कि स्पार्टा की शिक्षा पद्धति में भी कई गंभीर दोष है इसका पाठ्यक्रम बहुत संकुचित है एकांगी है वहां केवल सैनिक शिक्षा पर बल दिया गया है साहित्य और संगीत की शिक्षा की क्या की गई है उपेक्षा की गई है और प्लेटो यहां तक कहते हैं कि कई वहां पर ऐसे लोग भी थे जो पढ़ना लिखना
भी नहीं जानते थे प्लेटो ने जब अपने राज्य के लिए या हम यह कहे कि जब उसने अपनी शिक्षा प्रणाली को अपनाना चाहा तो बार्कर कहते हैं कि एथेंस से प्लेटो की शिक्षा योजना का व्यक्तिगत पहलू आता है एथेंस में एथेंस में शिक्षा किसका काम था व्यक्तिगत और स्पार्टा में राज्य का तो प्लेटो एथेंस की शिक्षा प्रणाली से पूर्णत संतुष्ट नहीं थे तो बार्कर कहते हैं कि एथेंस ने एथेंस से प्लेटो की शिक्षा योजना का व्यक्तिगत पहलू आता है यहां मानव का संपूर्ण विकास होना चाहिए स्पार्टा से उसका सामाजिक पहलू आता है कि नागरिक को उ
उचित स्थान पर प्रतिष्ठित करने के लिए उसको उसके अनुसार उचित शिक्षा का प्रावधान होना चाहिए अब हम देखते हैं कि प्लेटो की शिक्षा योजना क्या थी प्लेटो ने अपनी शिक्षा का पाठ्यक्रम क्या रखा प्लेटो की शिक्षा प्रणाली की जो सबसे पहली विशेषता है प्लेटो की शिक्षा प्रणाली पूरी तरह राज्य द्वारा नियंत्रित है क्या है राज्य द्वारा नियंत्रित है शिक्षा राजकीय नियंत्रण के साथ-साथ उसने यह भी व्यवस्था की कि संरक्षक वर्ग के स्त्री और पुरुष इस शिक्षा योजना का लाभ उठा सके अपनी शिक्षा योजना में उसने किस तरह का पाठ्यक्रम
बनाया तो यह कहा जाता है उसने अपनी शिक्षा योजना को दो स्तर पर विभाजित किया प्रारंभिक शिक्षा पहले क्या होगी प्रारंभिक शिक्षा और बाद में उच्च शिक्षा प्रारंभिक शिक्षा का करिकुलम क्या होगा उसमें किन विषयों की शिक्षा दी जाएगी तो प्रारंभिक शिक्षा प्लेटो मानकर चलते हैं कि 6 से 20 वर्ष की आयु तक के बच्चों के लिए प्रारंभिक शिक्षा दी जाएगी शिक्षा का प्रमुख उद्देश्य नागरिकों में सामाजिकता का विकास करना होगा यह मुख्य रूप से भावनाओं का निर्माण करना और चरित्र का निर्माण करना होगा इस शिक्षा के माध्यम से नागरिको
ं में शूर्य के गुणों का विकास करना भी है क्योंकि आवश्यकताओं के अनुरूप सैनिक शिक्षा भी आवश्यक है तो प्लेटो की मान्यता थी कि एक ऐसी शिक्षा होनी चाहिए जो ऐसे नागरिकों का वर्ग तैयार करना सैनिक कार्यों का दायित्व को भी भली भाति पूर्ण कर सके प्लेटो एथेंस की पराजय को देख चुका था मैंने आपको पहले भी बताया तो प्लेटो का मुख्य उद्देश्य था कि अब जो शिक्षा प्रणाली है वह ऐसी होनी चाहिए कि नागरिकों में जो भी गुण होने चाहिए वह होने चाहिए तो प्रारंभिक शिक्षा का जो काल था वह समाप्त होने के बाद प्लेटो ने कुछ समय के
लिए सैनिक प्रशिक्षण को आवश्यक बताया प्लेटो द्वारा प्रारंभ प्रारंभिक शिक्षा के अंतर्गत वम संगीत का प्रशिक्षण दिया जाएगा 18 से 20 वर्ष की आयु में सैनिक प्रशिक्षण सबके लिए अनिवार्य होगा उसके समाप्त होने पर जो व्यक्ति अधिक योग्यता का परिचय देगा उन्हें उच्च स्तरीय शिक्षा के लिए चुना जाएगा शेष को सैनिक वर्ग में सम्मिलित करके उनके अनुरूप कामकाज में लगा दिया जाएगा तो प्लेटो कहता है कि प्रारंभिक शिक्षा तो सभी को समान रूप से दी जाएगी जिसमें साहित्य की शिक्षा होगी संगीत की शिक्षा होगी वम की शिक्षा होगी और
18 से 20 साल तक दो साल तक सभी लोगों के लिए आवश्यक सैनिक शिक्षा का प्रावधान होगा 20 वर्ष की आयु में एक परीक्षा होगी उस परीक्षा में उत्तीर्ण होने वालों को आगे की शिक्षा दी जाएगी वो क्या है उच्च शिक्षा तो प्रोफेसर से बाइन कहते हैं कि उच्च स्तरीय योजना निसंदेह रिपब्लिक का अत्यंत मौलिक और अत्यंत विशिष्ट प्रस्ताव है उच्च स्तरीय शिक्षा योजना निसंदेह रिपब्लिक का अत्यंत मौलिक और अत्यंत विशिष्ट प्रस्ताव है प्लेटो की उच्च शिक्षा के दो स्तर है 20 से 30 वर्ष तक का प्रशिक्षण पहले हमने देखा था प्लेटो की प्रार
ंभिक शिक्षा प्रारंभिक शिक्षा के बाद वह कहता है कि 18 से 20 वर्ष तक के लिए सभी के लिए सैनिक शिक्षा आवश्यक होगी उसके पश्चात परीक्षा में उत्तीर्ण होने वाले लोगों को उच्च शिक्षा प्रदान की जाएगी तो उच्च शिक्षा में भी प्लेटो ने दो स्तर बताए हैं 20 से 30 और 30 से 35 वर्ष 20 से 30 वर्ष और 30 से 35 वर्ष उच्च शिक्षा के पहले स्तर पर प्लेटो विज्ञान और तर्क के अध्ययन पर बल देता है जब उच्च शिक्षा प्रारंभ हो जाती है तो प्लेटो उच्च शिक्षा में पहले किस पर बल देता है विज्ञान विज्ञान की शिक्षा नागरिकों को दी जाए ज
िससे कि उनका बौधि में तीक्षण आए बुद्धि में षणतावादी के आधार पर प्लेटों ने अपनी शिक्षा का प्रारूप निर्धारित किया उसके बाद साथ में प्लेटो अंक गणित का बहुत महत्व मानते थे प्लेटो कहते थे कि जिनको अंग गणित का ज्ञान नहीं है वह मेरी अकादमी में प्रवेश ना ले प्लेटो अंक गणित पर इतना ज्यादा बल थे तो विज्ञान के पाठ्य विषयों में उन्होंने गणित को सबसे ज्यादा महत्व दिया वह अंक गणित के दार्शनिक महत्व को जानते थे क्योंकि इससे शुद्ध सत्य ज्ञान की प्राप्ति के लिए शुद्ध प्रज्ञा के व्यवहार की आवश्यकता होती है शुद्ध
सत्य को प्राप्त करने के लिए शुद्ध प्रज्ञा की की आवश्यकता होती है और वह कहां से आती है गणित से तो इसलिए प्लेटो ने अपनी उच्च शिक्षा में प्रारंभिक समय में विज्ञान पर बल दिया और विज्ञान में भी सबसे ज्यादा किस पर बल दिया गणित पर बल दिया वह कहते हैं कि गणित का दार्शनिक महत्व है प्लेटो ने उनका कहना था कि यदि सेनापति के लिए संख्या ज्ञान आवश्यक है अन्यथा उसे अपनी सैनिक टुकड़ियों को व्यवस्थित करना नहीं आएगा प्लेटो की मान्यता है कि एक सेना के लिए भी एक सैनिक के लिए भी अंक गणित का ज्ञान होना आवश्यक है नहीं
तो वह अपने सैनिक टुकड़ियों को विभाजित नहीं कर सकेगा अंक गणित के साथ-साथ प्लेटों ने रेखा गणित पर भी बहुत बल दिया वह कहते हैं कि यह व्यावहारिक ज्ञान के लिए आवश्यक है विज्ञान के अन्य विषयों में प्लेटों ने ज्योतिष और संगीत का शास्त्रीय ज्ञान इस पर अपने पाठ्यक्रम में बल दिया तो प्लेटो बहुत सूक्ष्म रूप से अपनी शिक्षा प्रणाली को उन्होंने देखकर निर्धारित किया 20 से 30 साल तक व्यक्ति को ज्ञान गणित संगीत ज्योतिष इत्यादि की शिक्षा दी जाएगी 30 वर्ष की आयु में उच्च शिक्षा पाने वाले संरक्षक में पुनः एक चुनाव
की परीक्षा होगी 30 वर्ष तक समान शिक्षा दी जाएगी 30 वर्ष पर एक परीक्षा होगी और इस परीक्षा को जो उत्तीर्ण करंगे उन्हें आगे की शिक्षा प्रदान की जाएगी और यह वही लोग होंगे जो दार्शनिक शासक बनेंगे 30 से 35 तक जो शिक्षा दी जाएगी उसमें दर्शन की शिक्षा के अध्ययन पर बहुत अधिक बल दिया जाएगा प्लेटो कहते हैं यदि गणित भौतिक पदार्थों से अमूर्त चिंतन की र बढ़ने का प्रथम सोपान है तो विशुद्ध विचारों और अंतिम सत्य के विचारों तक पहुंचने के लिए द्वितीय सोपान दर्शन शास्त्र का है हम दर्शन के द्वारा ही अंतिम सत्य तक पह
ुंच सकते हैं फिर 30 से 35 तक प्लेटों की शिक्षा पर बल देते हैं दर्शन द्वंदात्मक की शिक्षा दी जाएगी 35 वर्ष की आयु में 35 वर्ष तक जिन्होंने शिक्षा प्राप्त कर ली है उसके बाद प्लेटो संरक्षक के शिक्षण को अपूर्ण मानता है कक अभी तक जो इनको शिक्षा मिली है वह शिक्षा कैसी है किताबी ज्ञान है प्लेटो कहता है कि राजा तो तब शासन कर पाएगा जब उसको सांसारिक ज्ञान भी हो जब उसको व्यावहारिक ज्ञान भी हो तो इसलिए फिर 35 वर्ष की आयु के पश्चात वह कहता है कि अब उन्हें 35 से 50 35 से 50 सांसारिक ज्ञान प्राप्त करने की आवश्
यकता होगी तो प्लेटो कहते हैं कि इस प्रकार से जो व्यक्ति 50 वर्ष तक उम्र तक हर अग्नि परीक्षा में खरे उतरेंगे उन्हें ही दार्शनिक राजा बनाया जाएगा 50 वर्ष तक की शिक्षा प्राप्त करने के बाद जो व्यक्ति खरा उतरेगा वह दार्शनिक शासक होगा तो प्लेटो की शिक्षा पद्धति सात वर्ष से प्रारंभ होकर और 50 वर्ष तक चलती है 6 वर्ष से प्लेटो की शिक्षा प्रणाली की विशेषताएं क्या थी सबसे पहला है कि राज्य के द्वारा नियंत्रित और अनिवार्य शिक्षा यह हमने बता दिया आपको कि प्लेटो शिक्षा को व्यक्ति के हाथ में नहीं देना चाहता वह
शिक्षा को क्या मानता है कि शिक्षा एक महत्त्वपूर्ण कार्य है जिसे व्यक्ति के हाथ में नहीं छोड़ा जाना चाहिए और जिसे किसको दिया जाना चाहिए राज्य के हाथ में होना चाहिए तो सेबाई ने कहा है कि प्लेटो ने रिपब्लिक में राज्य नियंत्रित अनिवार्य शिक्षा की योजना प्रस्तुत की है उसकी यह योजना एथेंस की शिक्षा प्रणाली से बहुत आगे बढ़कर थी जो एथेंस की शिक्षा प्रणाली थ सेन कहते हैं कि प्लेटो की शिक्षा योजना उससे बहुत आगे थी प्लेटो की शिक्षा प्रणाली में ऐसी कोई भी बात नहीं थी जिसे शिक्षा को परिवार की स्वेच्छा पर छोड
़ दिया जाए राज्य की ओर से शिक्षा अनिवार्य व्यवस्था की जाएगी परिवार का इसमें कोई भी हस्तक्षेप नहीं होगा शिक्षा पूर्णत राज का काम होगी व्यक्ति का सर्वांगीण विकास किया जाए ऐसी शिक्षा पर प्लेटो ने बल दिया है प्लेटो वादी शिक्षा का उद्देश्य व्यक्ति का शारीरिक मानसिक आत्मिक सर्वांगीण विकास करना है इस दृष्टि से यह शिक्षा प्रणाली वास्तविक भी है और पूर्ण भी है प्लेटो ने स्त्री और पुरुषों के लिए एक समान शिक्षा प्रणाली बल दिया था प्लेटो स्त्री और पुरुषों की क्षमता में कोई अंतर नहीं मानता इसलिए वह दोनों को स
मान प्रशिक्षण देना चाहता है और प्लेटो का कहना है कि जिस प्रकार से पुरुष राज्य के कार्यों में पुरुषों की जो सहभागिता होगी तो स्त्रियों की भी सहभागिता उसके उनके समान ही होगी तो इसलिए उनकी शिक्षा प्रणाली भी उसी प्रकार की होनी चाहिए प्लेटो ने अपनी शिक्षा प्रणाली के दो भाग किए प्राथमिक जो बचपन से लेके 20 वर्ष तक बच्चों को दी जाती है और उच्चतर शिक्षा यह समान रूप से सभी स्त्री और पुरुषों सबको मिलती है उच्च शिक्षा के लिए 20 वर्ष की आयु पर परीक्षा होगी जो उसको उत्तीर्ण कर लेंगे उन्हें उच्च शिक्षा के लिए
उनका चयन किया जाएगा उन्हें फिर 20 से 30 30 से 35 35 से 50 तक शिक्षा ग्रहण करनी होगी शरीर और मन का विकास यह बहुत एक सरल और सही बात है कि एक स्वस्थ मन में एक स्वस्थ शरीर एक स् स्वस्थ शरीर में सॉरी एक स्वस्थ मन निवास करता है एक स्वस्थ शरीर में एक स्वस्थ मस्तिष्क निवास करता है तो इसलिए प्लेटो ने अपने शिक्षा प्रणाली में दार्शनिक राजा का निर्माण करना था क्योंकि प्लेटो ने अपने न्याय के सिद्धांत में जो तीन गुण बताए व्यक्ति में विवेक साहस तृष्णा तो विवेक का जो वर्ग प्रतिनिधित्व करेंगे वह कौन है शासक तो इ
सलिए उसने शासकों की शिक्षा पर बहुत अधिक बल दिया पाठ्यक्रम का आधार निश्चित आयु और वर्ग प्लेटो की शिक्षा का पाठ्यक्रम आयु वर्ग और बुद्धि के आधार पर निर्धारित होगा उसने 20 साल बाद परीक्षा का प्रावधान रखा है और उस परीक्षा में जो उत्तीर्ण होंगे उन्हें उच्च शिक्षा प्रदान की जाएगी स्त्री पुरुष का कोई भेद नहीं है पाठ्यक्रम में नैतिक मानदंडों को भी उचित स्थान दिया गया है प्लेटो ने अपनी शिक्षा में धर्म को महत्त्वपूर्ण दिया साथ में नैतिक शिक्षा को भी महत्त्वपूर्ण स्थान दिया है सेबान के शब्दों में प्लेटो ने
प्राथमिक शिक्षा के अंतर्गत काव्य और साहित्य के उच्च रूपों को सम्मिलित किया था प्लेटो काव्य और साहित्य के उच्च रूप को अपनी शिक्षा में सम्मिलित करते हैं क्योंकि साहित्य एक ऐसा साधन है जो व्यक्ति के मन पर असर छोड़ता है तो इसलिए हमारे मानसिक विकारों को दूर करने के लिए साहित्य भी बहुत आवश्यक है प्लेटो की शिक्षा प्रणाली दीर्घकालीन है छ साल से लेकर 50 साल तक पूरे जीवन तक जीवन पर्यंत चलने वाली प्रक्रिया है तो एक दीर्घ कालीन कार्य प्लेटो ने अपनी शिक्षा योजना में संपूर्णता को प्राप्त करना चाहा है और वह ए
क ऐसे व्यक्ति का निर्माण करना चाहते हैं जो हर तरीके से वह व्यक्ति क्या हो पूर्ण हो प्राथमिक शिक्षाओं में भावनाओं का परिमार्जन किया जाएगा भावनाओं को और अधिक तराशा जाएगा और उच्च शिक्षा में दर्शन की शिक्षा दी जाएगी विज्ञान की शिक्षा दी जाएगी तो मैक्सी का कथन है प्लेटो की शिक्षा प्रणाली के बारे में कि प्लेटो की शिक्षा योजना अनेक दृष्टियां से स्पष्ट तया आधुनिक लगती है मैक्सी वह क्या कहते हैं कि प्लेटो की शिक्षा योजना अनेक प्रकार से आधुनिक लगती है शिक्षा के संबंध में की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि उसने
ना केवल शिक्षा योजना का निरूपण किया वरन उसने अपनी अकादमी के सभी विषयों की आदर्श शिक्षा का प्रबंध भी किया प्लेटो ने केवल यह नहीं किया कि उसने शिक्षा के बारे में बतला दिया उसने अपनी अकादमी में उस शिक्षा को प्रदान करने का प्रबंध भी किया निश्चित रूप से शिक्षा का विचार प्लेटो की शिक्षा प्रणाली का एक महत्त्वपूर्ण सिद्धांत है शिक्षा पर लिखा गया एक महत्त्वपूर्ण डॉक्यूमेंट है प्रलेख है किंतु प्लेटो की शिक्षा प्रणाली 6 वर्ष से 50 वर्ष तक की आयु तक चलती है और 20 वर्ष के बाद प्लेटो इसमें क्या शुरू कर देता
है छटनी शुरू कर देता है कि 20 वर्ष तक की सैनिक प्रशिक्षण तक जो शिक्षा है वह तो सबको मिलेगी और उसके बाद वह शिक्षा केवल किसके लिए रह जाएगी शासकों के लिए रह जाएगी तो आलोचकों ने आधुनिक संदर्भ में वर्तमान संदर्भ में प्लेटो की शासन प्रणाली प्लेटो की शिक्षा प्रणाली की आलोचना भी की है तो आलोचक कहते हैं कि यह अपजा ंत्र है और एकांगी है क्योंकि इसका सामान्य नागरिकों से कोई संबंध नहीं है राज्य अपने एक बहुत बड़े वर्ग क्योंकि 20 वर्ष की आयु पे जो परीक्षा होगी तो उच्च शिक्षा तो केवल उन्हीं लोगों को दी जाएगी जो
इस आयु में परीक्षा को उत्तीर्ण कर लेते हैं तो यह कहा जाता है कि प्लेटो अपने बहुत बड़े वर्ग उत्पादक वर्ग और सैनिक वर्ग को उच्च शिक्षा से वंचित करता है तो इस विशाल जन समुदाय को प्लेटो की दृष्टि में कोई ज्यादा महत्व नहीं था जबकि आवश्यक यह है कि उन्हें भी उन्हें कार्य की शिक्षा दी जानी चाहिए तो इसलिए प्लेटो के आलोचक प्लेटो की शिक्षा प्रणाली को अ प्रजातांत्रिक और एकांगी मानते हैं कुछ कहते हैं कि प्लेटो की शिक्षा प्रणाली में साहित्य की उपेक्षा की गई है साहित्यिक जगह प्लेटों ने गणित की शिक्षा पर बहुत
अधिक बल दिया है कुछ आलोचकों का कहना है कि प्लेटो की शिक्षा पूर्णतः कैसी है राज्य द्वारा नियंत्रित तो आलोचक यह कहते हैं कि यदि कला साहित्य संगीत इन पर भी यदि राज्य का नियंत्रण होगा तो उनका विकास हो ही नहीं सकता साहित्य तो स्वत विकसित होता राज्य के नियंत्रण में साहित्य का विकास नहीं हो सकता शिक्षा क्रम बहुत लंबा है य बहुत लंबा टाइम है इसके बाद 50 वर्ष बाद तो कुछ सीखने की और कुछ करने की इच्छा भी नहीं रहती व्यक्तिक विकास का बलिदान प्लेटो ने शिक्षा को पूरी तरीके से किसको सौंप दिया राज्य को सौप दिया त
ो जब सब कुछ राज्य के द्वारा त्र होगा तो उसमें यह संभावना रहती है कि व्यक्ति के व्यक्तित्व का समुचित विकास नहीं हो विरोधाभास प्लेटो की शिक्षा प्रणाली एक और तो आदर्श राज्य का आधार है और शिक्षा पर राज्य का नियंत्रण है दूसरी तरफ शिक्षा की व्यवस्था आदर्श राज्य की स्थापना के पश्चात ही प्रारंभ होती है तो इन दोनों बातों में क्या है विरोधाभास यदि शिक्षा राज्य का कार्य है तो फिर शिक्षा पहले कैसे दी जाएगी अपने न्याय के सिद्धांत में प्लेटो कहते हैं कि न्याय को प्राप्त करने का एकमात्र उपाय क्या है शिक्षा और
शिक्षा किसके द्वारा दी जाएगी राज्य के द्वारा दी जाएगी और प्लेटो यह मानते हैं कि शिक्षा के द्वारे द्वारा ही एक आदर्श राज्य का निर्माण हो सकता है शिक्षा योजना में अधिनायक तंत्र के बीज है कुछ आलोचक कहते हैं कि शिक्षा प्रणाली जो है प्लेटों की उसमें अधिनायक तंत्र की बू आती है फासीवाद नाजीवाद साम्यवादी शासन तो इस जैसे यह मतलब पूरा राज्य इन शासन प्रणालियों में राज्य हर विषय पर अपना नियंत्रण रखता है तो उसी प्रकार से प्लेटो की शिक्षा प्रणाली में राज्य शिक्षा पर इतना अधिक नियंत्रण रखते हैं शिल्पिका की ओर
पर्याप्त ध्यान नहीं देना तो प्लेटो ने केवल यहां तक नागरिकों की शिक्षा पर बल दिया है उसके बाद व उच्च शिक्षा में केवल जो उच्च शिक्षा को प्राप्त करेंगे उन्हें शिक्षा पर बल देता है तो इसलिए इसको हम पूरी तरीके से आज के संदर्भ में पूर्ण नहीं मान सकते क्योंकि इतनी महंगी और इतनी लंबी अनवरत चलने वाली शिक्षा प्रणाली को ग्रहण करना मुश्किल होगा लेकिन मैंने आपको पहले भी बताया कि रिपब्लिक की चार पुस्तकें केवल शिक्षा से संबंधित है रिपब्लिक की चार पुस्तकें केवल शिक्षा से संबंधित है तो इसलिए हम ये देखते हैं कि प
्लेटो की शिक्षा प्रणाली का महत्व क्या है तो सबसे बड़ी बात तो यह है कि उचित आयु में उचित शिक्षा की व्यवस्था करना प्लेटो ने बालकों के लिए किशोरों के लिए और युवकों के लिए प्रौढ़ों के लिए अलग-अलग पाठ्यक्रम बनाया है तो यह हम भी मान सकते हैं कि शिक्षा आयु के हिसाब से ही आयु के अनुसार ही दी जानी चाहिए प्लेटों की शिक्षा प्रणाली कुछ विषयों तक सीमित न होकर मानव जीवन के संपूर्ण अनुभव तक विस्तृत है यह बहुत व्यापक पाठ्यक्रम है प्लेटो ने शिक्षा योजना एक वर्ग को वही दीक्षा शिक्षा दी जाएगी जो उसके लिए आवश्यक है
20 वर्ष तक की आयु में जो शिक्षा आवश्यक है उनको वही शिक्षा दी जाएगी और 20 वर्ष के पश्चात जो परीक्षा को उत्तीर्ण कर लेंगे जिनको शासक बनना है उन्हें वही शिक्षा दी जाएगी जो उनके लिए आवश्यक है प्लेटो की शिक्षा योजना में वमंगी का संतुलन यह बहुत बड़ी बात है कि प्लेटो ने वम पर भी बहुत बल दिया उसने यहां तक कि उसने मनुष्य के आहार को भी बतलाया कि वम के साथ-साथ हमें उचित आर भी जानना चाहिए कि व्यक्ति को क्या आहार लेना चाहिए जिससे कि एक अच्छा शरीर उसका रहे तो प्लेटो ने जितना बल वम पर दिया उतना ही बल उसने संग
ीत पर भी दिया प्लेट प्लेटो का उद्देश्य शरीर और मस्तिष्क दोनों का विकास करना था प्लेटो दर्शन शास्त्र के द्वारा शासकों का निर्माण करना चाहता था क्योंकि प्लेटो ने कहा था कि जब तक दार्शनिक राजा नहीं होंगे या राजाओं में जब तक दर्शन की भावना नहीं आ जाएगी तब तक विश्व राज्य को बुराइयों से मुक्ति नहीं मिल सकती तो इसलिए निष्कर्ष रूप में सार रूप में हम कह सकते हैं कि प्लेटो की शिक्षा का सिद्धांत एक श्रेष्ठ सिद्धांत है वह शिक्षा तक सीमित नहीं है अपितु वो एक निरंतर चलने वाली प्रक्रिया है प्लेटो शारीरिक विकास
पर भी पूर्णत बल देते हैं और आत्मिक भावनात्मक विकास पर भी अनवरत बल देते हैं तो एबन स्टीन ने अंत में कहा कि प्लेटो की शिक्षा प्रणाली का मूल्यांकन कि यद्यपि प्रजातांत्रिक प्रणाली प्लेटो की कुलीन वर्गीय राजनीतिक शासकों के प्रशिक्षण की योजना को अस्वीकार करती रहेगी फिर भी यह सार्वजनिक सेवकों के प्रशिक्षण की संभावना और वांछनीय को अधिक सहानुभूति पूर्ण ढंग से देखती रहेगी ठीक है प्लेटो की प्लेटो एक कुलिट घराने में पैदा हुआ था तो प्लेटो की शिक्षा प्रणाली में अभिजात वर्ग का प्रभाव है लेकिन यदि हमें आज के स
ंदर्भ में भी इस प्रणाली उसकी शिक्षा प्रणाली के कुछ खास बातों को यदि हम उसमें अंगीकार करते हैं तो निश्चित रूप से यह शिक्षा प्रणाली युगों युगों तक इसको स्वीकार किया जाएगा थैंक यू वेरी मच धन्यवाद आपको पसंद आया है आपको समझ आया है तो इसको लाइक करना शेयर करना सब्सक्राइब करना ताकि अधिक से अधिक बच्चे इस चैनल से जुड़ सके और इस चैनल का लाभ ले सके थैंक यू वेरी मच ब

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